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इंग्लैंड को वर्ल्ड चैम्पियन बनाने वाले उस खिलाडी की कहानी जिसे सुनकर नहीं हारेंगे कभी हिम्मत

दोस्तों जोस बटलर की अगुवाई वाली इंग्लैंड टीम आईसीसी टी20 विश्व कप 2022 चैंपियन बन गई है। इंग्लैंड ने मेलबर्न क्रिकेट ग्राउंड में खेले गए फाइनल में पाकिस्तान को 5 विकेट से शिकस्त दी। पाकिस्तान ने खिताबी मुकाबले में 138 रन का लक्ष्य रखा, जिसे इंग्लैंड ने 19 ओवर में 5 विकेट गंवाकर हासिल कर लिया। इंग्लैंड के लिए बेन स्टोक्स ने शानदार अर्धशतकीय पारी खेली। और उन्होंने 49 गेंदों में 5 चौकों और 1 छक्के की मदद से नाबाद 52 रन बनाए। पाकिस्तान के लिए हारिस रऊफ ने दो जबकि शाहीन अफरीदी, मोहम्मद वसीम जूनियर और शादाब खान ने एक-एक विकेट झटका। इंग्लैंड ने दूसरी बार सबसे छोटे फॉर्मेट का का विश्व कप जीता लेकिन इस सबके बीच हम खियलडी की बात करेंगे जिसने इंग्लैंड को चैम्पियन बनाने में कोई कस्र नहीं छोड़ी और अपना सर्वस्व देकर टीम को दोबारा से चैम्पियन बनाया जी हाँ दोस्तों 3 अप्रैल 2016 इंग्लैंड को वर्ल्ड कप जीतने के लिए 6 बॉल में 19 रन बचाने थे। टूर्नामेंट में 4 विकेट लेने वाले इंग्लिश गेंदबाज को कप्तान ने गेंद सौंपी। और सामने थे वेस्टइंडीज के विस्फोटक बल्लेबाज कार्लोस ब्रैथवेट, ब्रैथवेट ने इस लास्ट ओवर में लगातार 4 गेंदों पर 4 छक्के लगाए और ये मैच खत्म कर दिया, फि क्या था इंग्लैंड के गेंदबाज स्टॉक्स हताश हो गए क्योकि फाइनल की ट्रॉफी उनके हाथो से निअक्ल चुकी थी, वो मैदान में सिर पकड़ कर बैठ गया। टीम के बाकी प्लेयर्स उसे संभालने लगे। वर्ल्ड कप जीतने का मौका इंग्लैंड के हाथों से फिसल चुका था।लेकिन अब बात साल 2022 की करते हैं,जहाँ मैदान था मेलबर्न क्रिकेट ग्राउंड। और एक बार फिर से टी-20 वर्ल्ड कप का फाइनल का था। पाकिस्तान के 138 रन के टारगेट का पीछा करने में इंग्लैंड ने चौथे ही ओवर में 2 विकेट गंवा दिए। टूर्नामेंट में कुल 58 रन बनाने वाले बैटर को क्रीज पर भेजा गया। उस बल्लेबाज ने 49 बॉल पर 52 रन की नॉट आउट पारी खेली और टीम को वर्ल्ड कप जीता दिया।

2016 में फाइनल हारने वाली टीम ने 6 साल बाद बाजी पलटी और अब वो ही इंग्लैंड वर्ल्ड चैंपियन है। 6 साल पहले जो गेंदबाज 6 बॉल पर 19 रन नहीं बचा सका था। 2022 वर्ल्डकप में उसी प्लेयर ने इस बार के फाइनल में 52 रन की नॉट आउट पारी खेल कर विनिंग शॉट जमाया।

इंग्लिश ऑलराउंडर बेन स्टोक्स 2016 की हार के बाद निराश हो गए थे और खुद मेंटली स्ट्रॉन्ग बनाया। कैसे स्टोक्स ने इंग्लैंड को 2019 में 50 ओवर का वर्ल्ड कप की ट्रॉफी, 2019 में एशेज के हेडिंग्ले टेस्ट में चमत्कारिक जीत और अब 2022 में टी-20 वर्ल्ड कप की ट्रॉफी दिलाई। वो काफी दिलचस्प रहा तो चलिए आपको बताते हैं इस पूरे घटनाक्रम की कहानी।

सबसे पहले बात करे 2019 वनडे वर्ल्ड कप फाइनल की
इंग्लैंड में 2019 का वनडे वर्ल्ड कप खेला गया। 14 जुलाई को लॉर्ड्स मैदान पर न्यूजीलैंड और इंग्लैंड के बीच फाइनल शुरू हुआ। न्यूजीलैंड ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 241 रन बनाए। 242 रन के टारगेट का पीछा करते हुए इंग्लैंड ने 20वें ओवर में 71 रन पर 3 विकेट गंवा दिए।

5वें नंबर पर बेन स्टोक्स बैटिंग करने उतरे। मैच फिर आखिरी ओवर में फंसा। इंग्लैंड को जीत के लिए आखिरी 6 बॉल पर 15 रन की जरूरत। ट्रेंट बोल्ट के ओवर की पहली 2 गेंद डॉट खेलने के बाद स्टोक्स ने तीसरी बॉल पर छक्का जड़ दिया। चौथी बॉल पर ओवरथ्रो से 6 रन आ गए। अब 2 बॉल पर 3 रन की जरूरत। इंग्लैंड 2 ही रन बना सका और मैच टाई हो गया।

रिजल्ट निकालने के लिए सुपर ओवर तक बात गई। इंग्लैंड ने सुपर ओवर की 6 बॉल पर 15 रन बनाए। इसमें स्टोक्स के 9 रन शामिल थे। न्यूजीलैंड ने भी 6 बॉल पर 15 रन बना लिए। लेकिन, ICC के बाउंड्री काउंट रूल के आधार पर इंग्लैंड ने मैच जीत लिया। फाइनल में 84 रन की नॉट आउट पारी और सुपर ओवर में 9 रन बनाने वाले स्टोक्स को प्लेयर ऑफ द मैच की ट्रॉफी मिली

2019 का वनडे वर्ल्ड कप जीतने के बाद अगले ही महीने इंग्लैंड में एशेज सीरीज शुरू हुई। 5 टेस्ट मैच की सीरीज का पहला टेस्ट ऑस्ट्रेलिया ने जीता। दूसरा टेस्ट ड्रॉ रहा। तीसरा टेस्ट हेडिंग्ले में खेला गया। ऑस्ट्रेलिया के पहली पारी में 179 रन के सामने इंग्लैंड 67 रन पर ऑल आउट हो गई। ऑस्ट्रेलिया ने सेकेंड इनिंग्स में 246 रन बनाकर इंग्लैंड को 359 रन का टारगेट दिया।

इंग्लैंड ने 141 रन पर 3 विकेट गंवा दिए। बेन स्टोक्स बैटिंग करने आए। वह एक एंड पर टिके थे, लेकिन 286 रन तक इंग्लैंड ने 9वां विकेट भी गंवा दिया। अब 73 रन की जरूरत और स्टोक्स के साथ स्पिनर जैक लीच लास्ट बैटर के रूप में खड़े थे।

यहां से इंग्लैंड की जीत बहुत मुश्किल लग रही थी, लेकिन स्टोक्स ने आखिरी विकेट के लिए 62 बॉल पर 76 रन की पार्टनरशिप कर इंग्लैंड को हारता मैच जिता दिया। सीरीज 1-1 से बराबर हो गई। सीरीज का चौथा टेस्ट ऑस्ट्रेलिया और पांचवां टेस्ट इंग्लैंड ने जीता। इस तरह सीरीज 2-2 से ड्रॉ रही।
मेंटल हेल्थ ब्रेक
2020 में स्टोक्स कुछ महीनों के लिए क्रिकेट से दूर हो गए। तब उनके पिता जेड स्टोक्स ब्रेन कैंसर से जूझ रहे थे। इसी साल उनके पिता की मौत हो गई और स्टोक्स डिप्रेशन में चले गए। वह जुलाई 2021 में लौटे और इंग्लिश वनडे टीम की कमान संभाली, लेकिन मेंटल हेल्थ को ध्यान में रखते हुए उन्होंने अगस्त में क्रिकेट से ब्रेक ले लिया।

स्टोक्स ने अपनी बायोपिक ‘बेन स्टोक्स: फीनिक्स फ्रॉम द एशेज’ फिल्म में डिप्रेशन का जिक्र किया है। स्टोक्स ने कहा- पिता ने ही क्रिकेट और स्पोर्ट्स के लिए इंस्पायर किया। उनके जाने के बाद वह डिप्रेशन में चले गए। इससे उबरने के लिए क्रिकेट से ब्रेक जरूरी था।

टेस्ट कप्तानी और वनडे से रिटायरमेंट

मेंटल हेल्थ से ब्रेक के बाद स्टोक्स दिसंबर 2021 में एशेज खेलने लौटे। 4 महीने बाद इंग्लैंड जो रूट ने टेस्ट से कप्तानी छोड़ दी। स्टोक्स को नया कप्तान बनाया गया। टेस्ट कप्तानी मिलने के बाद स्टोक्स ने जुलाई 2022 में वनडे से रिटायरमेंट ले लिया।

2016 टी-20 वर्ल्ड कप फाइनल

2011 में इंग्लैंड के लिए टी-20 इंटरनेशनल में डेब्यू करने वाले बेन स्टोक्स ने पहला टी-20 वर्ल्ड कप 2016 में खेला। फाइनल से पहले वर्ल्ड कप के 5 मैच में स्टोक्स ने 4 ही विकेट लिए थे। उन्हें आखिरी ओवर में 19 रन डिफेंड करने के लिए गेंद दी गई, लेकिन ओवर की शुरुआती 4 गेंदों पर 4 छक्के लगाकर विंडीज के कार्लोस ब्रैथवेट ने मैच खत्म कर दिया।

तब 25 साल के युवा स्टोक्स खुद से निराश नजर आ रहे थे। उन्हें टीम के बाकी खिलाड़ियों ने संभाला। ट्रॉफी सेरेमनी के दौरान भी वह भावुक थे।

2016 की हार ने इंस्पायर किया

2016 में ब्रैथवेट के 4 छक्कों को याद करते हुए स्टोक्स ने 2022 वर्ल्ड कप से पहले कहा था-फाइनल में हार से मैं निराश था। लेकिन, उस हार ने मुझे कभी क्रिकेट से दूर नहीं किया। उस मैच ने हमेशा ही मुझे जीवन और क्रिकेट में बेहतर करने के लिए मोटिवेट किया।

2022 टी-20 वर्ल्ड कप फाइनल
2016 के टी-20 वर्ल्ड कप फाइनल में आखिरी ओवर के बाद स्टोक्स ने 2021 का वर्ल्ड कप नहीं खेला। वे इंजरी के चलते बाहर हो गए। इसके बाद 2022 टी-20 वर्ल्ड कप के लिए इंग्लैंड की टीम में उन्हें चुना गया। फाइनल से पहले टूर्नामेंट के 5 मैचों में वह महज 58 रन बना सके थे। लेकिन, श्रीलंका के खिलाफ सुपर-12 स्टेज के इम्पॉर्टेंट मैच में उन्होंने 42 रन की नॉट आउट पारी खेलकर टीम को जीत दिलाई।

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